ईपीएफओ अलर्ट: कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के करोड़ों सब्सक्राइबर हैं। हर काम करने वाले व्यक्ति की सैलरी का एक हिस्सा ईपीएफओ के अकाउंट में जमा होता है। इन खातों को खाताधारक की स्थिति या व्यामोह के बाद निकाल सकते हैं। इन गतिविधियों को वृद्धावस्था का सहयोग माना जाता है। डिजिटलीकरण के दौर में आजकल इंटरनेट से जुड़े जालसाजी के मामले भी तेजी से बढ़ रहे हैं। ऐसे में ईपीएफओ आपके सब्सक्राइबर्स को समय-समय पर साइबर अपराध से बचने के लिए अलर्ट जारी करता रहता है। यदि आपके खाते की ये जानकारी अपराधियों को लग जाए तो आपका खाता खाली खाली हो सकता है। ऐसे में हम आपको उन तरीकों के बारे में जानकारी दे रहे हैं जिनके माध्यम से आप अपने खाते को खाली होने से बचा सकते हैं।
EPFO ने ट्वीट कर किया अलर्ट-
अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से इस बारे में जानकारी साझा करते हुए ईपीएफओ ने ट्वीट किया कि ईपीएफओ खाता धारक सावधान रहें। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन अपने सब्सक्राइबरों से कभी भी अपनी व्यक्तिगत जानकारी टेलीफोन कॉल, ईमेल और सोशल मीडिया के माध्यम से नहीं पूछता है। ऐसे में अगर कोई आपको ईपीएफओ के नाम से कॉल करता है तो आप सावधान हो जाएं।
#खबरदार फर्जी कॉल/संदेशों की। #ईपीएफओ कभी भी अपने सदस्यों से फोन, ई-मेल या सोशल मीडिया पर अपना व्यक्तिगत विवरण साझा करने के लिए नहीं कहता है।#अमृतमहोत्सव #चेतावनी #सुरक्षित रहें #सतर्क रहो @byadavbjp @Rameswar_Teli @श्रम मंत्रालय @AmritMahotsav pic.twitter.com/9jHm64pW3U
– ईपीएफओ (@socialepfo) फरवरी 10, 2023
इन विवरणों को भूलकर भी न करें शेयर-
ईपीएफओ का खाताधारक अपना यूनिक अकाउंट नंबर (यूएएन), पासवर्ड, पैन नंबर, आधार नंबर, बैंक विवरण विवरण, ओटीपी आदि जैसे व्यक्तिगत और बैंक विवरण किसी के साथ शेयर न करें। इसके साथ ही ईपीएफ कर्मचारी किसी भी व्यक्ति को सोशल मीडिया या कॉल के जरिए मैसेज के जरिए संपर्क नहीं करते हैं। ऐसे में अगर आपसे कोई ऐसी डिटेल्स मांगता है तो इसकी जानकारी तुरंत पुलिस को दें। यह केवल एक फिशिंग कॉल या मैसेज होता है। अगर आप अपने डिटेल्स शेयर करते हैं तो साइबर अपराध के शिकार हो सकते हैं।
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