चीनी गुब्बारे: अमेरिका में चीन का ‘जासूसी गुब्बारा’ (जासूस का गुब्बारा) नजर आने लगा और फिर उसे अमेरिकी फौजों ने मार गिराना अब दुनिया भर में चर्चा का विषय बना हुआ है। इस घटना से अमेरिका-चीन के बीच तनाव तेजी से बढ़ा था। अमेरिकी रक्षा विभाग पेंटागन का दावा है कि चीन ने अमेरिका (यूएसए) में एक बहुत बड़े बैलून को जासूसी के लिए भेजा था। हालांकि, चीन के दावों को झुठला रहा है।
आज अमेरिका के जाने-माने डिफेंस विशेषज्ञ एचआई सटन ने एक बड़ा दावा करते हुए कहा कि चीन ने केवल अमेरिका ही नहीं, बल्कि भारत के ऊपर भी इस तरह का जासूस गुब्बारा उड़ाया है। एचआई सटन ने दावा किया कि चीन ने यह हिमाकत जनवरी 2022 में की थी। उन्होंने कहा, ‘चीन ने हिंद महासागर में भारत की रणनीतिक रूप से बेहद अहम अंडमान निकोबार द्वीप समूह के ऊपर से जासूसी गुब्बारा उड़ाया था।’
‘अंडमान निकोबार द्वीपसमूह ने बैलून के ऊपर उड़ान भरी थी’
रक्षा विशेषज्ञों के अनुसार, अंडमान निकोबार द्वीप समूह के ऊपर चीन के जासूस गुब्बारे की तस्वीर भी सामने आई थी। रक्षा विशेषज्ञों ने कहा कि अमेरिका और भारत से पहले चीन ने वर्ष 2000 में जापान के ऊपर से भी जासूसी गुब्बारा उड़ाया था। उसने उस दृष्टि के माध्यम से जापान की निगरानी की थी।
अमेरिका ने मार गिराया चीनी बैलून
यह आरोप लगाया कि अब 2 दिन पहले ही अमेरिका के F-22 फाइटर जेट ने अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडन के आदेश पर चीन के एक बड़े गुब्बारे को मिसाइल दाग दिया था। अमेरिकी रक्षा अधिकारियों का कहना था कि चीन ने अपना जासूस गुब्बारा अमेरिका के ऊपर भेज दिया था। बाद में अमेरिका का करारा जवाब देते हुए चीन तिलमिला गया था।